Take care of Personal hygiene

Take care of Personal hygiene- व्यक्तिगत स्वच्छता का अर्थ है शरीर की सफाई और देखभाल करना। ऐसा करने से शरीर को स्वस्थ रखा जा सकता है और बीमारियों से बचा जा सकता है। व्यक्तिगत रूप से सवस्थ रहने के लिए नियमित रूप से साबुन और पानी से हाथ धोना शामिल है।

Take care of Personal hygiene
Take care of Personal hygiene

आप सबको खाने से पहले हमेशा हैंडवाश या सैनिटाइज़र का उपयोग करना चाहिए। दांतों और मुंह को साफ करने के लिए दिन में दो बार ब्रश करना चाहिए। त्वचा और बालों की देखभाल के लिए रोजाना स्नान जरूर करे। हल्के साबुन और गुनगुने पानी का उपयोग करें। अपनी त्वचा को मॉइस्चराइज़ करें इसके लिए लोशन या ऑयल का उपयोग कर सकते हैं। धुले हुवे साफ कपड़े पहनना भी महत्वपूर्ण है। पैरों की साफ-सफाई पर ध्यान दें, उन्हें धोएं और सुखाएं, साफ मोजे पहनें और मासिक धर्म स्वच्छता के लिए महिलाओं को समय पर सैनिटरी उत्पाद बदलने चाहिए। व्यक्तिगत स्वच्छता में नियमित रूप से सजना, शरीर की दुर्गंध से बचने के लिए डिओडोरेंट का उपयोग और पर्सनल चीज़ो को एक दूसरे से शेयर करने से बचना भी शामिल है। हमे पर्याप्त पानी पीना, संतुलित और पौष्टिक आहार लेना, अच्छी नींद और स्वच्छता की अच्छी आदतें बनाए रखने से न केवल स्वास्थ्य में सुधार होता है बल्कि आत्मविश्वास और सामाजिक जीवन में भी सुधार होता है।

नियमित रूप से आंखों की सफाई और देखभाल करना बहुत जरूरी है। आंखें हमारी सबसे महत्वपूर्ण इंद्रियों में से एक हैं। उन्हें स्वस्थ और संक्रमण से मुक्त रखने के लिए उन्हें रोजाना 2-3 बार साफ पानी से धोएं। हमेशा सोने से पहले और बाहर प्रदूषित वातावरण से लौटने के बाद अपनी आँखों को जरूर धोये। अपनी आंखों को गंदे हाथों से न छुएं और अगर छूने की जरूरत पड़े तो उस से पहले अपने हाथ धोना न भूलें। आंखों के आसपास की त्वचा को गीले कॉटन के साफ कपड़े से साफ करें। कभी भी कठोर साबुन या रसायनों वाले उत्पादों का प्रयोग न करे। आँखों में जलन या थकान होने पर डॉक्टर द्वारा बताये गए गुलाब जल या आई ड्रॉप का ही इस्तेमाल करें। धूप और धूल से बचने के लिए UV Rays सुरक्षा वाला चश्मा पहनें।

अपनी आंखों को डिजिटल स्क्रीन से बचाने के लिए 20-20-20 नियम का पालन करें और कम से कम स्क्रीन का इस्तेमाल करे जैसे फ़ोन टीवी और लैपटॉप का जरुरत से ज्यादा उपयोग न करे। आंखों को स्वस्थ रखने के लिए गाजर, पालक, मछली और संतरे जैसे विटामिन ए और ओमेगा-3 से भरपूर खाद्य पदार्थ खाएं। यदि खुजली, लालिमा या पानी निकले तो डॉक्टर से संपर्क करें और संक्रमित व्यक्ति के सामान जैसे टॉवल, चश्मे का उपयोग न करें। नियमित रूप से आंखों का टेस्ट कराएं, यदि आप चश्मा या कॉन्टैक्ट लेंस पहनते हैं तो बीच बीच में डॉक्टर को जरूर दिखाए। प्रदूषण से बचें और प्रदूषित स्थानों पर मास्क पहनें। नियमित देखभाल और सही आदतों से आंखों को स्वस्थ और सुरक्षित रखा जा सकता है।

बालों की सफाई और देखभाल करना जरूरी है। इनको स्वस्थ और चमकदार बनाये रखने के लिए सफाई जरुरी है। लम्बे और अच्छे बालो से आत्मविश्वास बढ़ता हैं। इसके लिए आप सही शैम्पू जो केमिकल फ्री हो उसी का इस्तेमाल करे। अपने बालों के प्रकार के अनुसार ही अपने बालों को हफ्ते में 2-3 बार धोएं। बालों को गुनगुने पानी से धोने के बाद आखिरी बार ठंडे पानी से धोएं। ताकि बालो की सॉफ्टनेस और चमक बनी रहें। नियमित रूप से अपने बालों की नारियल या बादाम के तेल से तेल से मालिश करें। शैम्पू के बाद हमेशा कंडीशनर का उपयोग करें। धूल और प्रदूषण से बालो को बचाये और बाहर जाते समय हमेशा बालो को किसी चीज़ से जरूर कवर करे। खान-पान की अच्छी आदतें डाले, जैसे प्रोटीन और विटामिन से भरपूर खाना ले। इनको नियमित रूप से ट्रिम करवाएं। तनाव कम से कम ले और अच्छी नींद लेने से बालों के स्वास्थ्य में भी सुधार होता है।

हाथों को साफ़ रखना बहुत जरुरी है। गंदे हाथो के कारण बैक्टीरिया और वायरस संक्रमण हो सकते हैं। हाथों को नियमित रूप से साबुन और पानी से धोना चाहिए। जब किसी बीमार व्यक्ति की देखभाल करते है या वाशरूम जा कर आते है तब इनको साफ़ रखे। यदि पानी और साबुन उपलब्ध नहीं है, तो सैनिटाइज़र का उपयोग करें। नाखूनों को साफ, छोटा रखें और गंदे काम के बाद अपने हाथ धोना न भूलें। सार्वजनिक स्थानों पर डिस्पोजेबल नैपकिन का उपयोग करें और उन जगह को नियमित रूप से साफ करें जिनके संपर्क में आपके हाथ आते हैं जैसे अपनी नल और बाकी उपयोगी सामान। ये सब आदतों को अपनाकर आप संक्रमण और बीमारियों से बच सकते है।

दांतों की देखभाल के लिए दिन में दो बार टूथपेस्ट से ब्रश करना, उचित ब्रशिंग तकनीक का उपयोग करना और रोजाना फ्लॉस का उपयोग करना आवश्यक है। रात को सोते समय माउथवॉश का प्रयोग करें और मीठे, चिपचिपे खाद्य पदार्थों से बचें। दांतों के बीच फंसे खाने के कणों को निकालने के लिए पानी पीने और कुल्ला करने की आदत डालें। बच्चों के दांतों का ख्याल रखें और समय-समय पर दंत चिकित्सक से जांच करवाएं। कैल्शियम और विटामिन डी से भरपूर भोजन लें। अपने दांतों पर ज्यादा दबाव न डालें। इन आदतों से आप अपने दांतों को स्वस्थ रख सकते हैंऔर अपने मुंह की ताजगी बनाए रख सकते हैं।

निष्कर्ष में हम कह सकते हैं कि व्यक्तिगत स्वच्छता हमारे शरीर के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है। सफाई रखने से ना सिर्फ बीमारियों से बचा जा सकता है बल्कि आत्मविश्वास और ताजगी भी महसूस होती है। नियमित रूप से हाथ धोना, दांतों, पैरों, त्वचा की स्वच्छता बनाए रखना आवश्यक है, ताकि हम संक्रमण और बीमारियों से बच सकें। सही आहार लेना, पर्याप्त पानी पीना और व्यक्तिगत स्वच्छता बनाए रखने जैसी स्वस्थ आदतें हमारी जीवनशैली का हिस्सा होनी चाहिए। व्यक्तिगत स्वच्छता को अपनाये और बीमारियों को कहे बाय।

मासिक धर्म के दौरान शरीर की दुर्गंध से बचने के लिए क्या करें?

मासिक धर्म के दौरान शरीर की दुर्गंध से बचने और स्वच्छता बनाए रखने के लिए कुछ जरुरी टिप्स है। महिलाओ को नियमित रूप से पैड बदलना महत्वपूर्ण है। ऐसा पैड, कपड़ा या मासिक धर्म कप चुनें जो आरामदायक हो और जिससे त्वचा को नुकसान न पहुंचे। जितना हो सके कपडे के इस्तेमाल से बचे और सेनेटरी पैड का इस्तेमाल करे। नहाने के बाद Parts को अच्छी तरह से सुखा लें। उस जगह पर हलके साबुन या खुशबू रहित साबुन और पानी से साफ करें। सूती अंडरवियर पहनें और गीले कपड़ों से बचें ताकि नमी के कारण बैक्टीरिया न पनपें। उचित आहार और पानी का सेवन करें, साथ ही हल्का व्यायाम या योग करें ताकि शरीर अंदर से स्वस्थ रहे। इन आदतों से आप मासिक धर्म के दौरान दुर्गंध से बच सकते हैं और स्वच्छता बनाए रखी जा सकती हैं।

अपने पैरों की साफ सफाई कैसे रखें?

अपने पैरों को साफ रखने के लिए आप उन्हें रोजाना गुनगुने पानी और हल्के साबुन से धोएं। पैरो को धोने के बाद अच्छी तरह से सुखाएं। पैर की उंगलियों के बीच गीले पैरों की वजह से होने वाले बैक्टीरिया और फंगल संक्रमण हो सकते हैं। पैरों के लिए मॉइस्चराइज़र का इस्तेमाल करे। अपने नाखूनों को नियमित रूप से काटें और इनकी सफाई का ध्यान रखें। ज्यादा टाइट और गीले जूते न पहने। सूती मोजे पहनें और अच्छी क्वालिटी के जूते चुनें ताकि पैरों को हवा मिल सके। पसीने से बचने के लिए पाउडर का प्रयोग करें और अपने पैरों को हमेशा सूखा रखें। इन आदतों से आप अपने पैरों को स्वस्थ और तरोताजा रख सकते हैं।

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